Rahul Gandhi : कांग्रेस नेता राहुल गांधी को (Defamation Case) गुजरात हाईकोर्ट से बड़ा झटका लगा है। कोर्ट ने राहुल की याचिका खारिज कर दी है।,, मतलब मोदी सरनेम विवाद में,, राहुल गांधी को फिलहाल राहत नहीं मिली है। ,,ऐसे में अब राहुल पर गिरफ्तारी की तलवार लटकने लगी है।,, आइए जानते हैं कोर्ट (Gujrat High Court) ने राहुल के मामले में क्या-क्या कहा?,, क्या अब राहुल गांधी को जेल जाना पड़ेगा? राहुल के पास ,,जेल से बचने के लिए ,,अब कितने विकल्प है
संसद और सियासत के लिए कौन सी राह पकड़ेंगे Rahul Gandhi
दोस्तों हाई कोर्ट ने निचली अदालत के फैसले को बरकरार रखा है। ,,इसका मतलब है कि ,,राहुल गांधी की संसद सदस्यता वापस मिलने,, और 2024 या 2029 का चुनाव लड़ने की उम्मीदों का ,,एक और रास्ता बंद हो चुका है। कांग्रेस ने हाई कोर्ट के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट जाने का ऐलान कर दिया है,,। अब सबकी निगाह शीर्ष अदालत पर होगी कि ,,राहुल गांधी को राहत मिलती है या नहीं। ,,हाई कोर्ट के फैसले के बाद अब राहुल गांधी के ,,राजनीतिक भविष्य पर,, सवालिया निशान लग गया है। आइए समझते हैं कि अब,, संसद और सियासत के लिए कौन सी राह पकड़ेंगे राहुल गांधी।
क्या है Defamation Case का पूरा मामला ?
सबसे पहले नजर डालते हैं कि,, राहुल गांधी से जुड़ा ये मामला क्या है। ,,दरअसल 2019 चुनाव से पहले ,,कांग्रेस नेता ने ,,कर्नाटक के कोलार की एक रैली में सवाल किया था कि,, ‘सभी चोरों का सरनेम मोदी ही क्यों होता है’। इसे लेकर पूर्णेश मोदी नाम के गुजरात के एक बीजेपी नेता ने,, राहुल गांधी के खिलाफ आपराधिक मानहानि का केस दर्ज करा दिया।,, 23 मार्च 2023 को सूरत की एक अदालत ने ,,राहुल गांधी को आईपीसी की धारा 499 और 500 के तहत ,,दोषी ठहराते हुए दो साल कैद की सजा सुनाई।
मानहानि केस में अधिकतम 2 साल की सजा
बता दे की आपराधिक मानहानि के मामलों में ,,अधिकतम 2 साल की सजा ही हो सकती है। इसके बाद केरल की वायनाड लोकसभा सीट से ,,सांसद रहे राहुल गांधी की संसद सदस्यता छिन गई। ,,दरअसल, सुप्रीम कोर्ट ने ऐतिहासिक लिली थॉमस और लोक प्रहरी केस में फैसला दिया था कि,, अगर किसी सांसद, विधायक या MLC को किसी मामले में 2 साल या उससे ज्यादा की सजा होती है ,,तो उसकी सदस्यता तत्काल प्रभाव से खत्म हो जाएगी। इतना ही नहीं, सजा की अवधि पूरी होने के 6 साल बाद तक,, संबंधित नेता चुनाव भी नहीं लड़ पाएगा।
सुप्रीम कोर्ट जायेगे राहुल
निचली अदालत के फैसले पर ,,रोक की मांग को लेकर राहुल गांधी ने ,,गुजरात हाई कोर्ट का रुख किया। शुक्रवार को उसी पर हाई कोर्ट ने फैसला सुनाया। जस्टिस हेमंत प्रक्षक की सिंगल जज बेंच ने कहा कि,, निचली अदालत का फैसला सही है। ,,उन्होंने अपने फैसले में कहा,,, ‘उनके खिलाफ कम से कम 10 आपराधिक मामले लंबित हैं। ,यहां तक कि इस केस के बाद भी उनके खिलाफ कुछ केस दर्ज हुए हैं। ,,ऐसा ही एक केस वीर सावरकर,, के पोते ने दर्ज कराया है। दोष सिद्धि से ,,कोई अन्याय नहीं होगा। सजा सही और उचित है। ,,उस फैसले (निचली अदालत) में दखल देने की कोई जरूरत नहीं है। लिहाजा, याचिका खारिज की जाती है।’
हाई कोर्ट की सिंगल जज बेंच का फैसला
दोस्तों हाई कोर्ट से झटके के बाद ,,राहुल गांधी अब क्या करेंगे? कांग्रेस पहले ही सुप्रीम कोर्ट जाने की बात कह चुकी है,,। मार्च में निचली अदालत के फैसले के बाद ,,हाई कोर्ट में जाने में ,,राहुल गांधी ने वक्त लिया था।,, तब उन्हे जनता के बीच सहानुभूति हासिल करने की ,,कांग्रेस की रणनीति के तौर पर देखा गया।,, बीजेपी नेताओं की फौज भी इसकी काट के लिए,, ‘समूचे ओबीसी समुदाय के अपमान’ का नैरेटिव गढ़ने में लग गई। ,,लेकिन हाई कोर्ट के फैसले के बाद,, कांग्रेस सुप्रीम कोर्ट जाने की बात कह रही है।,, हाई कोर्ट की सिंगल जज बेंच का फैसला है ,,तो बड़ी बेंच में जाने की गुंजाइश बनी ही हुई है। ,,अगर राहुल गांधी की सजा पर सुप्रीम कोर्ट या फिर,, हाई कोर्ट की बड़ी बेंच से रोक लग जाती है ,,तो उनकी संसद सदस्यता बहाल होने का रास्ता खुल सकता है।
क्या कहता है कानून, कैसे तय होती है मानहानि?
भारतीय दंड संहिता की धारा-499 और 500 में ,,किसी भी व्यक्ति के सम्मान और प्रतिष्ठा को सुरक्षा देने का प्रावधान है.,, आईपीसी की धारा-499 में कहा गया है कि,, कब और किन हालातों में मानहानि का दावा किया जा सकता है. ,,वहीं, आईपीसी की धारा-500 में दोषी पाए जाने पर दी जाने वाली सजा के बारे में,, जिक्र किया गया है. अगर किसी व्यक्ति के लिखने, बोलने या आरोप लगाने से,, दूसरे व्यक्ति के सम्मान की हानि हुई है, तो वह जितनी चाहे, उतनी मानहानि की राशि का ,,दावा कर सकता है. कोर्ट की फीस ज्यादा से ज्यादा 1.50 लाख रुपये है.
राहुल गांधी पर मानहानि के 4 और मुकदमे
दोस्तों राहुल गांधी पर मानहानि के 4 और मुकदमे चल रहे हैं, ,,जिन पर फैसला बाकी..
पहला ,,,2014 में राहुल गांधी ने संघ पर ,,महात्मा गांधी की हत्या का आरोप लगाया था। एक संघ कार्यकर्ता ने राहुल पर IPC की धारा 499 और 500 के तहत मामला दर्ज कराया था। ये केस महाराष्ट्र के भिवंडी कोर्ट में चल रहा है।
दूसरा ,,,2016 में राहुल गांधी के खिलाफ असम के गुवाहाटी में,, धारा 499 और 500 के तहत मानहानि का केस दर्ज किया गया था। शिकायतकर्ता के मुताबिक, राहुल गांधी ने कहा था कि ,,16वीं सदी के असम के वैष्णव मठ ,,बरपेटा सतरा में,, संघ सदस्यों ने उन्हें प्रवेश नहीं करने दिया। इससे संघ की छवि को नुकसान पहुंचा है। ,ये मामला भी अभी कोर्ट में पेंडिंग है।
तीसरा ,,2018 में राहुल गांधी के खिलाफ ,,झारखंड की राजधानी रांची में एक और केस दर्ज किया गया। ये केस रांची की ,,सब-डिविजनल ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट की कोर्ट में चल रहा है। राहुल के खिलाफ IPC की धारा 499 और 500 के तहत 20 करोड़ रुपए मानहानि ,,का केस दर्ज है। इसमें राहुल के उस बयान पर आपत्ति जताई गई है,,, जिसमें उन्होंने ‘मोदी चोर है’ कहा था।
चौथा,,2018 में ही राहुल गांधी पर महाराष्ट्र में एक और मानहानि का केस दर्ज हुआ। ,,ये मामला मझगांव स्थित,, शिवड़ी कोर्ट में चल रहा है। IPC की धारा 499 और 500 के तहत मानहानि का केस दर्ज है। केस संघ के कार्यकर्ता ने दायर किया था। राहुल पर आरोप है कि ,,उन्होंने गौरी लंकेश की हत्या को,, BJP और संघ की विचारधारा से जोड़ा।
क्या 2024 का चुनाव लड़ पायेगे राहुल ?
दोस्तों लोकसभा चुनाव में अब,, सालभर से कम वक्त है। ,,कहां तो लालू यादव ,,इशारों-इशारों में राहुल गांधी को,, प्रधानमंत्री पद के लिए तैयार,, रहने को कह रहे थे। ,,’दूल्हा’ बनने के लिए तैयार रहिए,,, हम सभी बाराती बनेंगे।,, और कहां अब ‘दूल्हा’ यानी प्रधानमंत्री बनना ,,तो दूर ,,राहुल गांधी के 2024 चुनाव लड़ने पर,, ही ग्रहण लग गया है। 2024 ही क्यों, अगर ऊपरी अदालत से राहत नहीं मिली तो,, नियमों के मुताबिक वह 2029 का चुनाव तक नहीं लड़ पाएंगे।,, ऐसी स्थिति में राहुल गांधी क्या करेंगे? उनके संसद में पहुंचने का रास्ता तो ,,फिलहाल पूरी तरह बंद नजर आ रहा है। अगर उन्हें सुप्रीम कोर्ट से भी राहत नहीं मिली तो ,,कांग्रेस इस मुद्दे पर जनता की सहानुभूति हासिल करने में कोई,, कोर कसर नहीं छोड़ेगी। इसके लिए माहौल बनाने की खातिर पदयात्रा, मार्च या देशभर में जनसंपर्क,, जैसी मुहिम चला सकती है। दूसरी तरफ बीजेपी भी इसे ,,काउंटर के लिए ‘ओबीसी के अपमान’ का कार्ड खेलेगी।
कौन होगा पीएम उम्मीदवार ?
दोस्तों राहुल गांधी अगर चुनाव ,,नहीं भी लड़ पाते हैं तो ,,वह चुनाव प्रचार की बागडोर तो संभाल ही सकते हैं,,। चुनाव नहीं लड़ने की सूरत में ,,उनके पास किसी एक निर्वाचन क्षेत्र पर खास फोकस का दबाव भी ,,नहीं रहेगा। लेकिन राहुल गांधी को अगर राहत नहीं मिलती है तो प्रधानमंत्री पद के लिए,, नरेंद्र मोदी के खिलाफ उनकी दावेदारी तो,, वैसे ही खत्म हो जाएगी। तो क्या प्रधानमंत्री पद के लिए कांग्रेस की दावेदारी,, भी खत्म हो जाएगी? नहीं। सबसे बड़ी विपक्षी पार्टी,, पीएम पद के लिए ,,अपनी दावेदारी तो नहीं ही छोड़ेगी,, खासकर तब ,,जब कर्नाटक में जबरदस्त जीत के बाद ,,उसका जोश सातवें आसमान पर है।,, पीएम पद के लिए वह राहुल गांधी की जगह पर ,,किसी और चेहरे को आगे करेगी,,। प्रियंका गांधी .. वो चेहरा हो सकती हैं।आपको क्या लगता है ,,अपनी राय कमेन्ट कर जरूर बताएँ